2025 का मानसून बम! IMD की मध्यप्रदेश के पहाड़‑मैदान में ‘रेड अलर्ट’ — भारी बारिश से तबाही मुमकिन

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भोपाल: पूरे मध्य प्रदेश में भारी बारिश का दौर जारी है. बुधवार को लगभग 15 जिलों में भारी बारिश हुई. जिससे नदी नाले उफान पर आ गए हैं. जगह-जगह सड़कें जलमग्न हो गईं. घरों, दुकानों और स्कूलों तक में पानी भर गया. नर्मदापुरम के इटारसी में बाढ़ जैसे हालात रहे. मौसम विभाग ने आज गुरुवार को 17 जिलों में भारी बारिश का अलर्ट जारी किया है. बाकि जिलों में ऑरेंज अलर्ट जारी किया है. तूफानी हवाओं के साथ बिजली गिरने का अलर्ट है. वहीं कई इलाकों में 4.5 इंच तक पानी गिर सकता है, जिससे निचले इलाकों में जलभराव और बाढ़ जैसे हालात बन सकते हैं.

आज किन जिलों में होगी बारिश
मौसम विभाग के मुताबिक, गुरुवार 24 जुलाई को प्रदेश के 17 जिलों में झमाझम बारिश होगी. जिनमें विदिशा, रायसेन, सीहोर, नर्मदापुरम, बैतूल, डिंडोरी, जबलपुर, नरसिंहपुर, छिंदवाड़ा, सिवनी, मंडला, बालाघाट, पन्ना, दमोह, सागर, छतरपुर, पांढुणा जिले में बारिश का ऑरेंज अलर्ट जारी किया है. वहीं, अनुपपुर, उमरया, कटनी, भोपाल, राजगढ़, हरदा, बुरहानपुर, खंडवा, खरगौन, बड़वानी, अलीराजपुर, झाबुआ, धार, इंदौर, रतलाम, उज्जैन, देवास, शाजापुर, आगर, मंदसौर, नीमच, गुना, अशोकनगर, शिववपुरी, ग्वालियर, दतिया, भिंड, मुरैना, श्योपुर, सिंगरौली, सीधी, रीवा, मऊगंज, सतना, शहडोल, टीकमगढ़, निवाड़ी और मैहर जिले बारिश का येलो अलर्ट जारी किया है.

बंगाल की खाड़ी पर बना मानसून ट्रफ
मौसम वैज्ञानिक दिव्या ई सुरेंद्रन ने बताया कि, ''वर्तमान में एक मानसून ट्रफ मध्य समुद्र तल पर, फिरोजपुर, करनाल, मेरठ, वाराणसी, जमशेदपुर, दीघा से होकर दक्षिण-पूर्व की ओर पूर्व-मध्य बंगाल की खाड़ी तक विस्तृत है. एक ऊपरी हवा का चक्रवातीय परिसंचरण दक्षिण-पश्चिम राजस्थान के ऊपरी हवा में 3.1 किमी की ऊंचाई पर सक्रिय है. वहीं पश्चिमी विक्षोभ, चक्रवातीय परिसंचरण के रूप में जम्मू और कश्मीर तथा संलग्न हिमाचल प्रदेश के ऊपर 3.1 और 5.8 किमी की ऊंचाई के मध्य अवस्थित है.''

''एक ऊपरी हवा का चक्रवातीय परिसंचरण, पश्चिम-मध्य और संलग्न पश्चिमोत्तर बंगाल की खाड़ी के ऊपर माध्य समुद्र तल से 3.1 और 5.8 किमी की ऊंचाई के मध्य सक्रिय है. इसके साथ ही एक ट्रफ, पूर्वोत्तर अरब सागर से दक्षिण गुजरात, उत्तरी मध्य महाराष्ट्र, विदर्भ, तेलंगाना और तटीय आंध्र प्रदेश होकर पश्चिम-मध्य और संलग्न पश्चिमोत्तर बंगाल की खाड़ी के ऊपर बने चक्रवातीय परिसंचरण तक ऊपरी हवा में 5.8 किमी की ऊंचाई पर विस्तृत है. जिसके चलते मध्य प्रदेश में बारिश का दौर जारी है.''