Electric Vehicles: दिल्ली-ओस्लो साझेदारी से बदलेगा ट्रांसपोर्ट सिस्टम, EV चार्जिंग पर होगा फोकस…राजधानी दिल्ली जल्द ही देश की इलेक्ट्रिक व्हीकल कैपिटल बनने की दिशा में बड़ा कदम उठाने जा रही है। परिवहन मंत्री पंकज सिंह ने सोमवार को कहा कि फरवरी 2026 तक दिल्ली में 7,000 से 8,000 इलेक्ट्रिक बसें चलाई जाएंगी।
अभी 3,400 ई-बसें, साल के अंत तक होंगी 6,000
मंत्री ने बताया कि फिलहाल दिल्ली में करीब 3,400 इलेक्ट्रिक बसें चल रही हैं, जबकि उनके पद संभालने के समय यह संख्या महज 400 थी। इस साल के अंत तक यह आंकड़ा 6,000 तक पहुंच जाएगा।
‘देवी बसें’ और नई Electric Vehicles पॉलिसी 2.0
दिल्ली सरकार लास्ट-माइल कनेक्टिविटी के लिए ‘देवी बसें’ भी उतारने की तैयारी कर रही है। साथ ही फरवरी 2026 तक नई EV पॉलिसी 2.0 लागू होगी।
इस पॉलिसी में चार्जिंग इंफ्रास्ट्रक्चर पर जोर दिया जाएगा। हाउसिंग सोसायटी, फ्लाईओवर के नीचे और आउटर दिल्ली की खाली जमीन पर चार्जिंग स्टेशन बनाए जाएंगे। RWA और प्राइवेट कंपनियों की साझेदारी से पब्लिक-प्राइवेट पार्टनरशिप (PPP) मॉडल भी अपनाया जाएगा।
नई पॉलिसी में शामिल होंगे:
- पुराने वाहनों को स्क्रैप करने के प्रावधान
- रोड टैक्स छूट
- ईवी खरीद पर इंसेंटिव्स
- पब्लिक चार्जिंग स्टेशन का विस्तार
दिल्ली-ओस्लो स्मार्ट ट्रांसपोर्ट इनिशिएटिव
दिल्ली सरकार नॉर्वे की राजधानी ओस्लो से भी अनुभव लेगी। इसके लिए ‘दिल्ली-ओस्लो स्मार्ट ट्रांसपोर्ट इनिशिएटिव’ शुरू करने का ऐलान किया गया।
ओस्लो के क्लाइमेट डिपार्टमेंट के वाइस डायरेक्टर ऑडुन गारबर्ग ने कहा कि, “2006-07 में हमारे पास भी पर्याप्त चार्जिंग पॉइंट नहीं थे, लेकिन अब हमने मजबूत नेटवर्क बना लिया है। दिल्ली भी इसी राह पर आगे बढ़ सकती है।”