Education news: भारत में जब सबसे कठिन परीक्षाओं की चर्चा होती है, तो उसमें IIT JEE, UPSC और GATE एग्जाम का जिक्र जरूर होता है। लेकिन ये परीक्षाएं भारत में ही नहीं बल्कि दुनिया की सबसे कठिन परीक्षाओं में से एक हैं। परीक्षा जिनती कठिन होती है उसका परिणाम भी उतना ही शानदार होता है। हम यह बात इसलिए कह रहे हैं क्योंकि आज के इस आर्टिकल में हम आपको बताएंगे कि दुनिया की सबसे कठिन परीक्षा कौन सी हैं।
हायर एजुकेशन के लिए यह परीक्षा अनिवार्य
गाओकाओ परीक्षा का आयोजन चीन में किया जाता है। चीन में हायर एजुकेशन के लिए यह परीक्षा अनिवार्य है, इसे दुनिया की सबसे कठिन परीक्षाओं में पहले स्थान पर रखा जाता है। इस परीक्षा को (National Higher Education Entrance Examination) के नाम से भी जानते हैं। बच्चों के स्कूल जाने के साथ ही इस कठिन परीक्षा की तैयारी शुरू हो जाती है।
परीक्षा की शुरुआत
गाओकाओ का शाब्दिक अर्थ होता है उच्च शिक्षा के लिए प्रवेश परीक्षा। चीन में इस परीक्षा की शुरुआत साल 1952 में हुई थी। हालांकि माओ जेडांग की सांस्कृतिक क्रांति के दौरान साल 1966 और 1976 के बीच इसे रोक दिया गया था।
गाओकाओ परीक्षा
गाओकाओ परीक्षा का अपना एक फॉर्मेट है। इसमें चीनी भाषा, गणित और एक विदेशी भाषा से जुड़े सवाल पूछे जाते हैं। परीक्षा के लिए आवेदन फॉर्म भरते समय स्टूडेंट फिजिक्स, केमिस्ट्री, इतिहास, राजनीति, भूगोल, बॉयोलॉजी जैसे दूसरे सब्जेक्ट भी चुन सकते हैं। यह परीक्षा कितनी महत्वपूर्ण है इसका अंदाजा इस बात से लगा सकते हैं कि परीक्षा के वक्त कोई बच्चा किसी किस्म की गड़बड़ी न करे, इसके लिए प्रशासन हर मुमकिन कोशिश करता है। सुरक्षा व्यवस्था के लिए निगरानी कैमरे से लेकर ग्लोबल पोजिशनिंग सिस्टम (जीपीएस) टेक्नोलॉजी तक का सहारा लिया जाता है। इसके अलावा ड्रोन से हवाई निगरानी की जाती है। साल 2016 में चीन की सरकार ने ये घोषणा की थी कि गाओकाओ में गड़बड़ी करने वाले छात्रों को जेल की सजा दी जा सकती है।