बल्ले से बरसे चौके-छक्के, रिकॉर्ड स्कोर खड़ा किया लेकिन अधूरी रह गई बल्लेबाज की ख्वाहिश

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नई दिल्ली: घरेलू क्रिकेट के बड़े टूर्नामेंट दलीप ट्रॉफी 2025-26 के फाइनल मुकाबले में सेंट्रल जोन का सामना साउथ जोन की टीम से हो रहा है. बेंगलुरु के बीसीसीआई सेंट्रल ऑफ एक्सीलेंस ग्राउंड पर 11 सितंबर से शुरू हुए इस मुकाबले में सेंट्रल जोन ने टॉस जीतकर पहले गेंदबाजी का फैसला किया था, जो उनके पक्ष में साबित हुआ. साउथ जोन की पहली पारी 149 रनों पर सिमट गई, वहीं सेंट्रल जोन ने मजबूत जवाब देते हुए 500 से ज्यादा रन बनाए, जिससे वह एक बड़ी बढ़त हासिल करने में सफल रहे. इस मैच में सेंट्रल जोन के युवा बल्लेबाज यश राठौड़ ने अपनी प्रतिभा का ऐसा प्रदर्शन किया कि वह लंबे समय तक चर्चा का विषय बने रहेंगे. हालांकि, वह इस दौरान एक खास मुकाम को हासिल करने से चूक गए.

यश राठौड़ के साथ हुआ कुछ ऐसा
सेंट्रल जोन की ओर से पहले कप्तान राजत पाटीदार ने शानदार शतकीय पारी खेली. लेकिन असली हीरो बने यश राठौड़, जिन्होंने 286 गेंदों का सामना करते हुए 194 रनों की शानदार पारी खेली. अपनी इस पारी में उन्होंने 17 चौके और दो छक्के लगाए और टीम के स्कोर को 500 रन तक भी पहुंचाया, लेकिन वह दोहरा शतक लगाने से चुके गए. बता दें, राठौड़ दोहरे शतक से महज छह रन दूर थे, जब साउथ जोन के गुरजापनीत सिंह ने उन्हें बोल्ड कर पवेलियन लौटाया. ये गेंद ऑफ स्टंप के बाहर पिच हुई और अंदर आकर स्टंप उखाड़ ले गई.

राठौड़ के लिए दोहरे शतक से चूकना निराशाजनक रहा, लेकिन 194 रनों का यह योगदान उन्हें घरेलू क्रिकेट में नई ऊंचाइयों तक ले जाने वाला साबित हो सकता है. दलीप ट्रॉफी जैसे टूर्नामेंट भारतीय क्रिकेट के भविष्य को मजबूत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं, और इस फाइनल ने एक बार फिर साबित कर दिया कि प्रतिभा की कोई कमी नहीं है. राठौड़ की इस यादगार पारी को क्रिकेट फैंस लंबे समय तक याद रखने वाले हैं.

सेंट्रल जोन को 362 रनों की बढ़त
यश राठौड़ की इस पारी के चलते सेंट्रल जोन की टीम अपनी पहली पारी में 511 रन बनाने में कामयाब रही. जिसके चलते उसने 362 रनों की बढ़त हासिल की. ऐसे में अब साउथ जोन को मुकाबले में वापसी करने के लिए दूसरी पारी में दमदार प्रदर्शन करना होगा. वहीं, सेंट्रल जोन की नजर जल्द से जल्द साउथ जोन को ऑलआउट करने पर रहेगी.