Bastar Olympic 2024 का उत्साह बस्तर में चरम पर है। गृहमंत्री अमित शाह 11 से 13 दिसंबर तक जगदलपुर में होने वाले समापन सत्र में शामिल होंगे। यह आयोजन सिर्फ एक खेल महोत्सव नहीं, बल्कि नए बस्तर की उस सकारात्मक तस्वीर को दिखाता है, जहां हिंसा की जगह अब खेल और शांति ने जगह ली है।
बस्तर में बदले दौर का संकेत
इस वर्ष के Bastar Olympic 2024 में एक खास पहल की गई है। कुल 500 समर्पित नक्सली और हिंसा पीड़ित युवा खिलाड़ी मैदान में उतरेंगे। यह पहल पुनर्वास और मुख्यधारा में वापसी की दिशा में बड़ा कदम मानी जा रही है। उप मुख्यमंत्री अरुण साव और गृहमंत्री विजय शर्मा के नेतृत्व में यह आयोजन बस्तर में सामाजिक बदलाव का आंदोलन बन चुका है।
3.91 लाख प्रतिभागियों से चुनकर आएंगे 3500 खिलाड़ी
संभाग स्तरीय प्रतियोगिता में 3500 खिलाड़ी हिस्सा लेंगे, जिन्हें 3.91 लाख प्रतिभागियों की विशाल सूची से चुना गया है। यह बस्तर की मजबूत हो रही खेल संस्कृति का प्रमाण है।
‘नुआ बाट’—बस्तर में शांति की नई पहल
इस आयोजन की सबसे बड़ी आकर्षण टीम नुआ बाट है। इसमें 500 नक्सल पीड़ित और 500 सरेंडर नक्सली हिस्सा ले रहे हैं। खेलों के माध्यम से ये युवा हिंसा छोड़कर नयी पहचान और नए अवसरों की तरफ कदम बढ़ा रहे हैं।
कहां-कहां होंगी प्रतियोगिताएं?
जगदलपुर सिटी ग्राउंड: फुटबॉल, वॉलीबॉल, कराटे, बैडमिंटन, वेटलिफ्टिंग
पंडरीपानी खेलो इंडिया सेंटर: हॉकी
धरमपुरा स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स: कबड्डी, खो-खो, एथलेटिक्स, रस्साकशी, तीरंदाजी









