गुरु वक्री से उल्टी चाल चलेंगे ग्रह, इन 3 राशियों को रहना होगा सावधान

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गुरु वक्री 2023 :ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, सभी ग्रह एक अवधि के बाद गोचर या वक्री होते हैं, जिसका प्रभाव सभी राशियों पर सकारात्मक व नकारात्मक रूप से पड़ता है। बता दें कि सूर्य और शनि भी आमने-सामने पड़े हुए हैं। ये भी वक्र अवस्था में हैं और ये अवस्था खत्म होगी 4 नवंबर को। सूर्य और मंगल साथ हैं तो वक्री नहीं है।

गुरु और राहु चंद्रमा के ऊपर रहेंगे

जब गुरु वक्री होंगे यहां पर तो चंद्रमा के ऊपर से गुरु गोचर करेंगे और ये शुभ नहीं होता। गुरु की दृष्टि हमेशा शुभ होती है। यदि आपकी कुंडली में गुरु वक्री हैं तो आपको इसके अचानक परिणाम देखने को मिलेंगे। देव गुरु बृहस्पति कि ये 4 सितंबर को वक्री होंगे और 31 दिसंबर तक ये मेष राशि में वक्री रहेंगे। आज जानेंगे कि इस वक्री से मेष राशि के जातकों को अपने जीवन में क्या बदलाव देखना होगा ? गुरु और राहु चंद्रमा के ऊपर रहेंगे। शुक्र चौथे भाव में। सूर्य और बुध पंचम में। मंगल छठे में। केतु सप्तम में और शनि ग्यारहवें भाव में वक्री हैं। शुक्र भी वक्री हैं और गुरु भी वक्री हो जाएंगे।

12 राशियों पर अलग-अलग प्रकार से प्रभाव

सुख, सौभाग्य, यश, वैभव, धन और बुद्धि के कारक गुरु ग्रह सितंबर माह की शुरुआत में मेष राशि में वक्री होने जा रहे हैं। गुरु ग्रह के वक्री होने से सभी 12 राशियों पर अलग-अलग प्रकार से प्रभाव पड़ेगा। इस दौरान कुछ राशियों को लाभ प्राप्त होगा, वहीं कुछ राशियां ऐसी हैं, जिन्हें इस अवधि में सतर्क रहने की आवश्यकता है। बता दें कि तीन राशियां ऐसी हैं, जिन्हें गुरु वक्री कि अवधि में आर्थिक क्षेत्र में सतर्कता बरतने की आवश्यकता है।

मेष राशि: गुरु वक्री का अशुभ प्रभाव मेष राशि के जातकों पर पड़ सकता है। इस अवधि में जातकों को कुछ मुश्किलों का सामना करना पड़ सकता है। साथ ही आर्थिक क्षेत्र में भी समस्याओं का सामना करना होगा। इस अवधि में पिता के साथ संबंध बिगड़ सकते हैं। इसलिए गुरु वक्री की अवधि में जातक को वाणी पर संयम रखने की आवश्यकता है।

सिंह राशि:सिंह राशि के जातकों को गुरु वक्री के कारण कुछ समस्याओं का सामना करना होगा। इस दौरान परिवार में किसी विषय को लेकर वाद-विवाद हो सकता है। साथ ही पुरानी बीमारी परेशान कर सकती है। इस अवधि में सन्तान पक्ष से भी कुछ समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है।

तुला राशि: तुला राशि के जातकों पर भी पड़ सकता है। अवधि में जातकों को स्वास्थ्य संबंधित समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। जिससे आर्थिक क्षेत्र पर भी बुरा प्रभाव पड़ेगा। साथ ही जातकों को वैवाहिक जीवन में भी कुछ सावधानियां बरतनी होंगी। जीवनसाथी या पार्टनर के साथ किसी बात को बड़ी अनबन हो सकती है।

Disclaimer: यह सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. pradeshlive.com किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं करता है. किसी भी जानकारी या मान्यता को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें