भोपाल : कुटीर एवं ग्रामोद्योग राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) दिलीप जायसवाल ने नर्मदापुरम में रेशम कृषि मेला-2025 का शुभारंभ किया। उन्होंने कहा कि मेले के आयोजन से रेशम उद्योग के विकास को गति मिलेगी। रेशम कृषि मेला रेशम उद्योग की प्रगति को समर्पित एक महत्वपूर्ण आयोजन है। यह मेला केंद्रीय रेशम बोर्ड वस्त्र मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा मध्य प्रदेश शासन के रेशम विभाग के सहयोग से आयोजित किया जा रहा है। इस कार्यक्रम का उद्देश्य किसानों, उद्यमियों और अन्य हितधारकों को रेशम उत्पादन की नवीनतम तकनीकों और सर्वोत्तम प्रथाओं से अवगत कराना है। यह कार्यक्रम उन रेशम किसानों को सम्मानित करने के लिए भी आयोजित किया गया है, जिन्होंने रेशम उत्पादन के क्षेत्र में उत्कृष्ट प्रदर्शन किया है।
राज्यमंत्री जायसवाल ने मेले में रेशम उत्पादों की प्रदर्शनी स्टॉल का उद्घाटन किया। विभिन्न प्रकार के रेशम उत्पादों का प्रदर्शन किया गया था। साथ ही, लाभार्थियों को वैज्ञानिक जानकारी प्रदान करने के लिए प्रचार पुस्तिकाओं का विमोचन किया।
कार्यक्रम के दौरान केंद्रीय रेशम बोर्ड बेसिक टसर सिल्कवर्म सीड ऑर्गनाइजेशन, बिलासपुर और केंद्रीय रेशम अनुसंधान एवं प्रशिक्षण संस्थान, मैसूर के विशेषज्ञों द्वारा एक तकनीकी सत्र आयोजित किया गया। इस सत्र में मलबरी एवं टसर ककून उत्पादन की उन्नत तकनीकों, मेजबान पौधों की खेती, पालन-पोषण पद्धतियों, कोकून पश्चात प्रक्रियाओं तथा रेशम उप-उत्पादों की मूल्य संवर्धन श्रृंखला में उत्पाद विविधीकरण पर विस्तृत चर्चा की गई।
मेले में करीब 400 हितग्राही, किसान शोधकर्ता, नीति-निर्माता और उद्योग विशेषज्ञ शामिल हुए। मेले में प्रदर्शनी, तकनीकी व्याख्यान और संवादात्मक सत्रों के माध्यम से रेशम उद्योग में सहयोग, ज्ञान आदान-प्रदान और नवाचार को प्रोत्साहित किया गया।
इस अवसर पर विशिष्ट अतिथि सांसद दर्शन सिंह चौधरी, माया नरोलिया, विधायक डॉ. सीतासरन शर्मा, विजयपाल सिंह, ठाकुरदास नागवंशी तथा प्रेमशंकर वर्मा उपस्थित थे। केंद्रीय रेशम बोर्ड के सदस्य सचिव पी. शिवकुमार, आयुक्त रेशम मोहित बुंदस, संभागायुक्त कृष्ण गोपाल तिवारी एवं कलेक्टर सोनिया मीना भी कार्यक्रम में शामिल हुईं।