टाइगर स्टेट: आज विश्व बाघ दिवस है। विश्व बाघ दिवस पर राजधानी भोपाल के कुशाभाऊ ठाकरे अंतर्राष्ट्रीय समन्वय केंद्र में वन विभाग उत्कृष्ट कार्य करने वाले वनकर्मियों को पुरस्कृत करने जा रहा है। वहीं उत्तराखंड के नैनीताल जिले में स्थित जिम कार्बेट नेशनल पार्क में आज शनिवार को विश्व बाघ दिवस के अवसर पर बाघों की संख्या जारी की जाएगी। बीते वर्ष प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बेंगलुरू में 2022 में हुई बाघों की गणना के आंकड़े जारी किए थे। प्रधानमंत्री द्वारा जारी रिपोर्ट में देशभर में 3167 बाघ बताए गए थे, लेकिन राज्य वार आंकड़े जारी नहीं हुए थे। आज शनिवार को जिम कार्बेट नेशनल पार्क में बाघों के राज्यवार आंकड़े जारी किए जाएंगे, जिसमें मध्यप्रदेश को फिर टाइगर स्टेट का तमगा मिलने की संभावना है।
अभी मप्र ही टाइगर स्टेट
बाघों के राज्यवार आंकड़े चार वर्ष में जारी किए जाते हैं। 2018 में जारी किए बाघों के आंकड़े में मध्यप्रदेश में 526 बाघ थे। यह किसी राज्य में सबसे अधिक संख्या थी, जिस वजह से मध्य प्रदेश को टाइगर स्टेट का तमगा मिला था। कर्नाटक 524 बाघों के साथ दूसरे स्थान पर था। बीते वर्ष हुई बाघों की गणना के अनुसार मध्यप्रदेश में 600 से अधिक बाघों के होने की संभावना जताई जा रही है। हालांकि प्रदेश में बीते वर्षों में बाघों की मौतों का आंकड़ा बढ़ा है, लेकिन फिर भी मप्र के वन विभाग के आला अधिकारी और सरकार आशान्वित है कि मप्र फिर से टाइगर स्टेट बनेगा। जिम कार्बेट में आयोजित समारोह में शामिल होने प्रदेश के वन मंत्री विजय शाह देहरादून पहुंच चुके हैं।
एक्शन प्लान का प्रारूप तैयार
इधर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से प्रदेश में वन्यप्राणियों की सुरक्षा और प्रबंधन के लिए आने वाले 20 वर्षों में क्या किया जाए, इसको लेकर वन विभाग के अधिकारियों को कार्य करने के निर्देश दिए थे। बताया जाता है कि वन विभाग के अधिकारियों ने अगले 20 वर्षों में टाइगर रिजर्व, राष्ट्रीय उद्यानों और अभयाराण्यों के साथ अन्य वन क्षेत्रों में बाघ सहित अन्य वन्य प्राणियों की सुरक्षा, रख-रखाव, देखभाल और उनके प्रबंधन को लेकर कार्ययोजना तैयार कर ली है।
संभावना जताई जा रही है कि शनिवर को अंतर्राष्ट्रीय बाघ दिवस पर शनिवार को भोपाल में होने वाले कार्यक्रम में कार्य योजना को लेकर बड़ी घोषणा हो सकती है। हालांकि चुनावी बैठकों के चलते इस कार्यक्रम में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के शामिल होने को लेकर स्थिति अभी स्पष्ट नहीं है। पहले अमित शाह के 29 जुलाई के भोपाल दौरे के कारण मुख्यमंत्री का इस कार्यक्रम में शामिल होना निरस्त हो गया था, लेकिन अब शाह 30 जुलाई को सुबह आएंगे, इससे मुख्यमंत्री के कार्यक्रम में शामिल होने की संभावना बढ़ गई है।