MP Election 2023: विधानसभा चुनाव से पहले सरकारी अफसरों को लेकर होगा बड़ा फेरबदल

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MP Election 2023: विधानसभा चुनाव को लेकर चुनाव आयोग ने मध्य प्रदेश सरकार से तीन साल से एक ही जिले में पदस्थ कलेक्टर और एसपी को हटाने को कहा है. आयोग से सरकार से ऐसे अधिकारियों की जानकारी मांगी है, जो फील्ड पोस्टिंग में लगातार तीन साल से एक ही जगह जमे हुए हैं. आयोग ने मुख्य सचिव और मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी से 31 जुलाई तक रिपोर्ट मांगी है.

मध्य प्रदेश में अभी दतिया कलेक्टर संजय कुमार 12 नवंबर 2020, पन्ना कलेक्टर संजय कुमार मिश्रा 22 अगस्त 2020, टीकमगढ़ कलेक्टर सुभाष कुमार द्विवेदी 16 जून 2020 से पदस्थ हैं. इन तीनों कलेक्टरों के तीन साल का कार्यकाल चुनाव कार्यक्रम घोषित होने के दौरान हो रहा है. इसलिए इन्हें हटाया जाना तय है.

आठ जिलों के कलेक्टर पिछले ढाई साल से पदस्थ हैं इनमें अमनबीर सिंह बैंस 12 फरवरी 2021 से बैतूल कलेक्टर हैं, बाकी सात कलेक्टरों में शिवम शर्मा श्योपुर, उमा माहेश्वरी आर अशोकनगर, गिरीश कुमार मिश्रा बालाघाट, संदीप जी आर छतरपुर, अनूप कुमार सिंह खंडवा, हर्ष दीक्षित राजगढ़, फ्रेंक नोबल गुना, सतीश कुमार भिंड, दीपक आर्य सागर,नीरज कुमार सिंह होशंगाबाद, उमाशंकर भार्गव विदिशा, वंदना वैद्य शहडोल कलेक्टर के नाम शामिल हैं

5 राज्यों के CM को लिखी चिट्ठी

चुनाव आयोग ने शुक्रवार को इस साल जिन पांच राज्यों में विधानसभा का चुनाव होना है, उनमें मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान, तेलांगााना और मिजोरम के चीफ सेक्रेटरी और सीईओ को पत्र लिखा है. मध्य प्रदेश विधानसभा का कार्यकाल 6 जनवरी 2024 को पूरा हो रहा है. इसके पहले नई विधानसभा का गठन होना है.

चुनाव ड्यूटी से जुड़े अफसरों में जिनके एक ही जिले में पिछले चार सालों में तीन साल पूरे हो गए हैं, उनमें कलेक्टर, एडीएम, एसडीएम, डिप्टी कलेक्टर, तहसीलदार, नायब तहसीलदार और आरआई को हटाया जाएगा. इसके साथ ही आईजी, एसपी, एडिशनल एसपी, डीएसपी, टीआई और एसआई को हटाया जाएगा. इसके साथ ही पिछले विधानसभा या लोकसभा चुनाव में शिकायतों के आधार पर चुनाव आयोग ने जिन अफसरों को हटाया है, उन्हें भी हटाया जाएगा.

गृह जिलों में पदस्थ अफसरों को भी हटाया जाएगा. इन अधिकारियों को हटाने में समय सीमा की कोई बाध्यता नहीं है. इसमें छह महीने, एक साल से लेकर तीन साल वाले अफसर हटेंगे. वहीं चुनाव ड्यूटी से जुड़े अफसरों में डाक्टर्स, इंजीनियर, शिक्षक, प्रिसिंपल के ट्रांसफर नहीं किए जाएंगे.