Sharad Purnima 2023 : हिंदू धर्म में शरद पूर्णिमा को बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है। आश्विन माह की पूर्णिमा तिथि को शरद पूर्णिमा के नाम से जाना जाता है। धार्मिक दृष्टि से ये तिथि बेहद ही महत्वपूर्ण मानी जाती है। इस दिन मां लक्ष्मी की पूजा का विधान है। कहा जाता है कि शरद पूर्णिमा की रात मां लक्ष्मी पृथ्वी पर विचरण करती हैं और अपने भक्तों की मनोकामनाएं पूर्ण करती हैं। शरद पूर्णिमा की रात चंद्रमा से निकलने वाली किरणें अमृत के सामान मानी जाती हैं।
यही वजह है कि इस दिन हर घर में खीर बनाई जाती है और रात में खुले आसमान के नीचे चांद की रोशनी में रखी जाती है, जिससे खीर में भी चांद रोशनी पड़े और इसमें भी अमृत का प्रभाव हो सके। शरद पूर्णिमा का व्रत मनोकामना पूर्ण करने वाला माना गया है। शरद पूर्णिमा का दिन, देवी लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए भी महत्वपूर्ण है। इसे कोजागरी भी कहते हैं। इस वर्ष शरद पूर्णिमा 28 अक्टूबर 2023, शनिवार को पड़ेगी। शरद पूर्णिमा का चंद्रमा शीतलता प्रदान करता है। पौराणिक मान्यता है कि शरद पूर्णिमा के दिन ही समुद्र मंथन के बीच मां लक्ष्मी प्रकट हुई थीं। इसलिए शरद पूर्णिमा के दिन देवी लक्ष्मी की पूजा करने से वे जल्दी प्रसन्न होती हैं और उनकी कृपा से पूरे साल धन की कमी नहीं होती है।
मनोकामना पूर्ति के लिए उपाय
- ज्योतिष के अनुसार, इस रात्रि को श्री सूक्त का पाठ, कनकधारा स्तोत्र, विष्णु सहस्त्रनाम का जाप और भगवान कृष्ण का मधुराष्टकं का पाठ कार्यों में सिद्धि दिलाता है। शरद पूर्णिमा के दिन देवी लक्ष्मी को पान का पत्ता चढ़ाने से उनकी विशेष कृपा प्राप्त होती है। इस दिन तैयार पान को मां लक्ष्मी को अर्पित करना चाहिए और पूजा के बाद घर के सभी सदस्यों को इसे प्रसाद के रूप में देना चाहिए।
- शरद पूर्णिमा के दिन चंद्रमा की किरणें अमृत बरसाती हैं, इसलिए शरद पूर्णिमा के दिन चावल की खीर बनाकर रात भर खुले आसमान में रखी जाती है। फिर पूजा के बाद लोग इस खीर का सेवन करते हैं। शरद पूर्णिमा के दिन देवी लक्ष्मी को उनका पसंदीदा भोग, खीर और पसंदीदा पुष्प कमल अर्पित करें। इससे वे प्रसन्न होकर अपनी कृपा आप पर बरसाएंगी।
- देवी लक्ष्मी को प्रसन्न करने का सबसे अच्छा उपाय शरद पूर्णिमा के दिन लक्ष्मी स्तोत्र का पाठ करना है। शरद पूर्णिमा की रात को स्नान कर, एक चौकी पर लाल कपड़ा बिछाएं और उस पर मां लक्ष्मी की मूर्ति या फोटो स्थापित करें। फिर मां लक्ष्मी की विधिवत पूजा करें और लक्ष्मी स्तोत्र का पाठ करें। मां लक्ष्मी की कृपा से हमेशा धन-धान्य भरा रहेगा।
- शरद पूर्णिमा के दिन सूर्यास्त के बाद मां महालक्ष्मी की पूजा करें। साथ ही उन्हें लाल-पीले पुष्प चढ़ाएं और भोग लगाएं। साथ ही इस दिन मां लक्ष्मी को श्रृंगार की सामग्री चढ़ाएं। कमलगट्टे या स्फटिक माले से “ॐ श्रीं ह्रीं क्लीं त्रिभुवन महालक्ष्म्यै अस्मांक दारिद्र्य नाशय प्रचुर धन देहि देहि क्लीं ह्रीं श्रीं ॐ।।” का जाप करें।
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