Monday, December 23, 2024
Homeदुनियाकिसी का सगा नहीं पाकिस्तान ना चीन का ना अमेरिका का, जो...

किसी का सगा नहीं पाकिस्तान ना चीन का ना अमेरिका का, जो पैसा दे उसका 

लौहार । पाकिस्तान में इन दिनों बुरा हाल है। जहां पाकिस्तान सदी के सबसे बड़े आर्थिक संकट से जूझ रहा है। वहीं दूसरी तरफ पाकिस्तानी प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और विदेश राज्यमंत्री हिना रब्बानी खार के बीच हुई सीक्रेट बातचीत लीक हो गई है। इस बातचीत के लीक होने से हंगामा मचा ही है साथ ही यह प्रश्न भी खड़ा हुआ है कि पाकिस्तानी विदेश नीति का संचालन विदेश मंत्री बिलावल भुट्टो जरदारी कर रहे हैं या उनकी जूनियर हिना रब्बानी खार?
बता दें कि अमेरिकी खुफिया एजेंसी के जो दस्तावेज लीक हुए हैं उसके चलते पाकिस्तान को फिर दुनिया के सामने किरकिरी का सामना करना पड़ रहा है। इस रिपोर्ट से सामने आया है कि पाकिस्तान ना तब अमेरिका का है ना ही चीन का। पाकिस्तान बस उस समय उसका साथी होता है जो कंगाल पाकिस्तान को डॉलरों की मदद दे रहा होता है। जहां तक पूरे घटनाक्रम की बात है, तब बता दें कि रिपोर्टों के मुताबिक कुछ दिनों पहले अमेरिकी खुफिया एजेंसी के कुछ दस्तावेज लीक हो गए थे। इन्हीं लीक दस्तावेजों से प्रधानमंत्री शहबाज और हिना रब्बानी खार के बीच की बातचीत उजागर हो गई है। दस्तावेजों से सामने आया है कि विदेश नीति को लेकर पाकिस्तानी प्रधानमंत्री और विदेश राज्य मंत्री के बीच गहरे मतभेद हैं। दस्तावेज दर्शाते हैं कि पाकिस्तान सरकार यह समझ ही नहीं पा रही है कि असली दोस्त चीन को माना जाए या अमेरिका को। इन दस्तावेजों ने चीन की भी आंखें खोल दी हैं जोकि अब तक पाकिस्तान पर आंखें मूंद के भरोसा कर रहा था और उस तमाम तरह की मदद मुहैया करा रहा था। दस्तावेजों के सामने आने से पाकिस्तान के उन प्रयासों को भी झटका लगा है जिसके तहत वह अमेरिका से आर्थिक मदद की गुहार लगा रहा है।
एक रिपोर्ट के मुताबिक, पाकिस्तान के कठिन विकल्प शीर्षक वाले इस गुप्त मेमो के कुछ हिस्से अमेरिकी अखबार ने जारी किए थे। जिसके मुताबिक विदेश राज्य मंत्री हिना रब्बानी खार ने प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ को चेतावनी दी थी कि पाकिस्तान को पश्चिम को खुश करने के अहसास से बचना होगा। इस मेमो के मुताबिक हिना ने शहबाज शरीफ को चेतावनी दी थी कि देश अब चीन और अमेरिका के बीच एक जमीन बनाए रखने का प्रयास नहीं कर सकता है। लीक दस्तावेजों के मुताबिक हिना खार का तर्क था कि पाकिस्तान यदि अमेरिका के साथ साझेदारी को बचाने के प्रयास करता रहेगा तब चीन के साथ उसके असल रणनीतिक रिश्ते की बलि चढ़ जाएगी।
बता दें कि इन दस्तावेजों ने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर हंगामा मचा रखा है हालांकि अभी यह साफ नहीं है कि अमेरिका को हिना रब्बानी खार के यह मेमो कैसे हासिल हुए। सवाल यह भी उठ रहा है कि क्या हिना पर अमेरिका को पहले से शक था इसलिए उनकी जासूसी की जा रही थी? सवाल यह भी उठता है कि पाकिस्तान के और कितने मंत्री अमेरिकी खुफिया एजेंसी के रडार पर हैं? बहरहाल, बताया जा रहा है कि अमेरिकी खुफिया एजेंसी के दस्तावेजों की लीक का यह मामला साल 2010 के विकीलीक्स से भी ज्यादा बड़ा है, क्योंकि इसमें कई अन्य रहस्योद्घाटन भी हुए हैं जोकि जल्द ही सामने आ सकते हैं। 

RELATED ARTICLES

Contact Us

Owner Name:

Deepak Birla

Mobile No: 9200444449
Email Id: pradeshlive@gmail.com
Address: Flat No.611, Gharonda Hights, Gopal Nagar, Khajuri Road Bhopal

Most Popular

Recent Comments

Join Whatsapp Group
Join Our Whatsapp Group