Haryana news: लंबी यात्रा के दौरान ड्राइवरों के स्वास्थ्य पर पड़ने वाले विपरीत असर को कम करने और सड़क हादसों को रोकने के लिए सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने एक अधिसूचना को मंजूरी दे दी है। इस बात कि जानकारी खुद केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने ट्वीट कर दी है। गर्मी से बचने के लिए अब ट्रक चलाने वाले सभी ड्राइवर्स को एसी की सुविधा मिलेगी। केन्द्रीय मंत्री ने एसी केबिन के प्रस्ताव को पास कर दिया है। अधिकारियों का कहना है कि, इस प्रस्ताव को लागू होने में 18 महीने का समय लगेगा।
केबिन में एयर कंडीशनिंग सिस्टम को इंस्टॉल करना अनिवार्य
नितिन गडकरी कहा कि ट्रक चालक परिवहन क्षेत्र में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं जो भारत के लिए सबसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में से एक है, और उनकी कामकाजी परिस्थितियों और मन की स्थिति से संबंधित मुद्दों पर ध्यान देने की आवश्यकता है। उन्होंने ने ट्रक ड्राइवरों की स्थिति पर चिंता जताते हुए ट्रकों के केबिन में एयर कंडीशनिंग (AC) सिस्टम को इंस्टॉल करने को अनिवार्य करने के लिए मसौदा अधिसूचना को मंजूरी दे दी है।
नितिन गडकरी ने अपने ट्वीट में कहा कि
नितिन गडकरी ने अपने ट्वीट में कहा कि, एन2 और एन3 कैटेगरी से संबंधित ट्रकों के केबिन में एयर कंडीशनिंग सिस्टम को अनिवार्य करने के लिए मसौदा अधिसूचना को मंजूरी दे दी गई है। सड़क सुरक्षा सुनिश्चित करने में ट्रक चालक महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। यह निर्णय ट्रक ड्राइवरों के लिए आरामदायक काम करने की स्थिति प्रदान करने में एक मील का पत्थर साबित होगी। जिससे उनकी दक्षता में सुधार होने के साथ ही ड्राइवर की थकान की समस्या का समाधान होगा।
परिवहन क्षेत्र में ट्रक चालक की महत्वपूर्ण भूमिका
खबरों के मुताबिक पिछले महीने ही गडकरी ने कहा था कि, ट्रक चालक परिवहन क्षेत्र में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं जो भारत के लिए सबसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में से एक है, और उनकी कामकाजी परिस्थितियों और मन की स्थिति से संबंधित मुद्दों पर ध्यान देने की आवश्यकता है। उन्होनें कहा था कि, जल्द ही ट्रकों के लिए वातानुकूलित केबिन को अनिवार्य कर दिया जाएगा।
इस प्रस्ताव को पास करते हुए उन्होंने कहा कि, ‘हमारे देश में कुछ ड्राइवर 12 या 14 घंटे गाड़ी चलाते हैं जबकि दूसरे देशों में बस और ट्रक ड्राइवरों की ड्यूटी का समय निर्धारित है। हमारे ड्राइवर 43 से 47 डिग्री तापमान में गाड़ी चलाते हैं, ऐसे में हम ड्राइवरों की कंडीशन का अंदाजा लगा सकते हैं। मैं जब मंत्री बना उसी समय एसी केबिन शुरू करने का इच्छुक था लेकिन कुछ लोगों ने यह कहकर विरोध किया कि इससे खर्चा बढ़ेगा।