Alcohol addiction: कई ऐसे खिलाड़ी होते हैं जिनमें टैलेंट तो शानदार होता है लेकिन किसी कारण से उनका करियर खत्म हो जाता है। वहीं कुछ ऐसे खिलाड़ी होते हैं तो बेहद टैलेंटेड होते हैं, उन्हें मौका भी मिलता है लेकिन जीवन में वह कुछ ऐसा कर बैठते हैं कि अच्छा भला करियर चौपट हो जाता है। हालांकि, कई बार क्रिकेटर्स ने शराब पीने के बाद अपनी हदों को पार भी किया है। कुछ तो ड्रग्स की गिरफ्त में ऐसे फंस कि बाहर निकलते-निकलते करियर चौपट हो गया। 3 ऐसे ही खिलाड़ी है, जो अपने-अपने टीम के सुपरस्टार थे, लेकिन नशे की लत ने उन्हें कहीं का नहीं छोड़ा।
विनोद कांबली
साल 1993 में इंग्लैंड के खिलाफ महज 21 साल की उम्र में दोहरा शतक जड़कर कांबली ने तहलका मचा दिया था। मगर जल्द ही बाएं हाथ का यह बल्लेबाज क्रिकेट जगत की चकाचौंध और ग्लैमर में भटक गया। अनुशासनहीनता और खराब आदतों ने उन्हें बर्बाद कर दिया। खुद कांबली ने कई बार शराब पीने की बुरी लत को स्वीकारा है। युवा भारतीय खिलाड़ी विनोद कांबली की शुरुआत जितनी धमाकेदार थी, अंत उनती ही दुखदायी।
एंड्रयू साइमंड्स
महान ऑलराउंडर्स की लिस्ट में सबसे ऊपर गिने जाने वाले एंड्रयू साइमंड्स। इस अटैकिंग बैटिंग ऑलराउंडर को शराब पीने की बुरी लत लग गई। एक इंटरव्यू में उन्होंने कहा था कि उनमें एक बार में पूरी शराब की बोतल पीने की क्षमता है। 2009 के बाद से उनके बुरे दिन शुरू हो गए। अनुशासनहीनता के चलते ऑस्ट्रेलिया ने उन्हें बाहर का रास्ता दिखा दिया था।
जेसी राइडर
जेसी राइडर ने इंटरनेशनल करियर की शुरुआत धमाकेदार अंदाज में की थी। 2009/10 में भारत का न्यूजीलैंड दौरा उनके करियर का महत्वपूर्ण मोड़ था। मगर जल्द ही शराब की लत ने उन्हें अपने करियर से पूरी तरह भटका दिया। मार्च 2013 में क्राइस्टचर्च के एक बार में कुछ लोगों ने उन पर जानलेवा हमला किया, जिसके बाद वह कई दिन तक कोमा में रहे। सिर में लगी गंभीर चोट से वह उबरे जरूर और शतक बनाकर वापसी भी की, लेकिन शराब की लत नहीं छोड़ पाए।